मार्च का पहला प्रदोष व्रत 10 मार्च को इस दिन उपायों से सुख-शांति और समृद्धि आने की है मान्यता।
हिन्दू धर्म में प्रदोष व्रत का विशेष महत्व होता है यह थिति भगवान शिव को सम्प्रति होती है धर्मिक मान्यताओ के अनुसार प्रदोष व्रत का दिन भगवान शिव की विधि-विधान से पूजा करने से मनोकामनाए पूरी होती है शस्त्रों के अनुसार प्रदोष व्रत को सबसे पहले चंद्र देव ने रखा था इस व्रत के प्राभव से वह क्षय रोग से मुक्त हो गए थे कहा जाता है की इस व्रत को रखने से दो गायों के दान के बराबर पुण्य मिलता है मार्च महीने का पहला प्रदोष व्रत 10 मार्च यानी बुधवार को रखा जायगा बुधवार के दिन सुख-सम्रद्धि और खुशहाली के लिए कुछ उपाय किए जाते है बुधवार के दिन किए जाते है ये उपाय मार्च महीने का पहला प्रदोष व्रत बुधवार को पड़ रहा है मान्यता है की बुधवार के दिन गाए को हरा चरा खिलाने से जीवन की सभी परेशानिया खत्म हो जाती है और धन-धन्य में कोइ कमी नही रहती है कहते है की बुधवार के दिन सुबह स्नाना आदि के बाद एक कांस की थली में चंदन से ॐ ग गणपतये नम लिखकर पांच बूंदी के लाडू के रखकर पास के मंदिर में दान करने चहिये कहते है की ऐसा करने से धन प्राप्ति के योग बनते है और माँ लक्ष्मी का आशीर्वाद प्राप्त होता है बुधवार के दिन श्रीगणेश को सुबह शुद्ध घी और गुड़ का भोग लगाना उत्तम माना जाता है कहते है की ऐसा करने से माँ लक्ष्मी की कृपा बरसती है और बिगड़े काम भी बन जाते है शास्त्रों में बुधवार के दिन भगवान गणेश के अभिषेक का विधान बतया गया है कहते है की ऐसा करने से भगवान गणेश का आशीर्वाद प्राप्त होने के साथ ही माँ लक्ष्मी भी प्रसन होती है बुधवार के दिन गणेशजी के मंदिर में जाकर दर्शन करना सुभ होता है कहते है ऐसा करने से भगवान गणेश और माँ लक्ष्मी भक्त के मन की मुरादे पूरी करती है बुधवार के दिन घर में गंगा जल का छिड़काव करना शुभ माना जाता है कहते है की ऐसे करने से माँ लक्ष्मी घर आती है बुधवार के दिन घर के मंदिर में भगवान गणपति को 8 अर्क के फूल अर्पित करना शुभ माना जाता है कहते है की ऐसा करने से माँ लक्ष्मी घर में स्थायी बसेरा बनाती है
बुध प्रदोष व्रत शुभ मुहूर्त व तिथि
प्रदोष व्रत तिथि-10 मार्च(बुधवार)
फाल्गुन कृष्णा त्रयोदशी प्राम्भ-10 मार्च को 2:40 pm
त्रयोदशी तिथी समाप्त-11 मार्च को 2:39 pm