Sakat Chauth 2022 सकट /तिल चौथ की यह व्रत कथा/ कहानी

Sakat Chauth 2022 Katha सकट /तिल चौथ की  व्रत कथा 

 

Sakat Chauth 2022  इस साल  सकट चौथ का व्रत 21 जनवरी 2022  दिन Friday को रखा जायेगा।  इस दिन सभी महिलाये तिल और गुड़ को कुटकर तिलकुटा बनाती है। और फिर गणेश जी को भोग लगाकर पूरे विधि -विधान से पूजा करने उसके बाद कथा सुनती है।  कुछ महिलाये व्रत फल खाकर तो और कुछ महिलाये यह व्रत दिन निर्जला रखती  है और फिर  रात को चाँद को अर्ख देकर ही अपना व्रत खोलती है। यह  व्रत सभी माताये अपने बच्चो की लम्बी उम्र और सुख -समृद्धि के लिए व्रत करती है।   भगवान  गणेश जी (Lord Ganesha) की पूजा की जाती है.क्योकि भगवान श्री गणेश संकट को हरने वाले विघ्नहर्ता है।

Sakat Chauth 2022 सकट चौथ पर करें। ये उपाय करने से घर में \

Sakat Chauth 2022 :  इस साल  सकट चौथ का व्रत 21 जनवरी 2022  दिन Friday को रखा जायेगा।  इस दिन सभी माताये /महिलाये तिल और गुड़ को कुटकर तिलकुटा बनाती है। और फिर गणेश जी को भोग लगाकर पूरे विधि -विधान से पूजा करने उसके बाद कथा सुनती है।  कुछ महिलाये व्रत फल खाकर तो और कुछ महिलाये यह व्रत दिन निर्जला रखती  है और फिर  रात को चाँद को अर्ख देकर ही अपना व्रत खोलती है। यह  व्रत सभी माताये अपने बच्चो की लम्बी उम्र और सुख -समृद्धि के लिए व्रत करती है।   भगवान  गणेश जी (Lord Ganesha) की पूजा की जाती है.क्योकि भगवान श्री गणेश संकट को हरने वाले विघ्नहर्ता है।

सकट चौथ व्रत की पैराणिक कथा/कहानी ;-

प्राचीन समय की बात है एक नगर में एक साहूकार और साहूकारनी रहते थे। उस साहूकार के अपनी  कोई संतान नहीं थी। इसलिए वे दोनों बहुत उदास रहते थे। और हमेशा यही सोचते रहते थे की हमारी भी अपनी  भी कोई संतान हो। एक दिन साहूकार की पत्नी अपनी  पड़ोसन के घर कुछ लाने  गई थी। तब उसने देखा की सभी महिलाओ ने चौथ का व्रत कर रखा था तो चौथ माता की कहानी सुन रही थी। तब साहूकारनी ने पूछा की तुम सब लोग क्या कर रही हो। तब उन लोगो ने कहाँ की हमने आज चौथ का व्रत किया है। इसलिए हम सब चौथ माता की कहानी सुन रहे। तब साहूकारनी ने पूछा की चौथ माता का व्रत करने से क्या होता है। आप लोग मुझे बताओ। तब साहूकारनी की पड़ोसन ने कहाँ की चौथ का व्रत करने से जिसे संतान ना उसे की पुत्र प्राप्ति ,और घर में सुख – समृद्धि  की प्राप्ति है। यह सब सुनने के बाद साहूकारनी बहुत खुश हुई। और कहाँ की मै भी चौथ माता का व्रत करुँगी। उसके बाद साहूकारनी ने भी सकट चौथ का व्रत किया। और चौथ माता से कहाँ हे चौथ माता अगर मै नहाई रह जाऊ तो मै सवा सेर का तिलकुटा करुँगी। उसके बाद साहूकारनी नहाई रह गई। और उसके बाद साहूकारनी ने कहाँ हे चौथ माता अगर मेरे घर में बेटा हुआ तो मै ढाई सेर का तिलकुटा करुँगी। गणेश जी कृपा से साहूकार और साहूकारनी  के घर बेटा हुआ। फिर उसने कहाँ अगर मेरे बेटे  की शादी हो जाये तब मै सवा पाँच किलो का तिल कुटा करुँगी। चौथ माता के आशीर्वाद से उसके बेटे की शादी हो ही रही थी। कि चौथ माता ने सोचा की साहूकारनी तो आये दिन तिलकुटा बोलती रही और किया एक बार भी नहीं।  अगर इसके बेटे की शादी हो जायेगी। फिर तो यह मुझे  भूल ही जायेगी। तब चौथ माता  ने उसके बेटे को  फेरो में से उठाकर  अपनी माया से उसे पीपल के पेड़ पर ले जाकर  बैठा दिया।  अब सभी लोग वर  को ढूढ़ने  लगे वर मिलने से विवाह नहीं हुआ।

एक दिन साहूकारनी की होने वाली  बहू अपनी सहेलियों साथ दूब  (दूर्वा )लेन  जंगल गई थी उसी समय पीपल के पेड़ पर बैठे साहूकारनी के बेटे ने आवाज लगाई औ मेरी अधरब्याहि यह सुनकर सभी लड़किया  डर गई थी और भागकर घर  आ गई। उस लड़की  ने सारी बात  अपनी माँ को बताई और उसके बाद उस लड़की माँ और सभी लोग उस पीपल के पेड़ के पास पहुंचे। लड़की की माँ ने देखा की उस पेड़  पर तो उसका होने वाला  जवाई (दामाद ) बैठा है।तब उस लड़की  की माँ ने कहाँ तुम यहाँ क्यों बैठे हो। तो उसने अपनी माँ की गलती बताई उसनेकहाँ मेरी माँ  सकट चौथ माता का तिलकुटा बोला था और एक बार भी  तिलकुटा नहीं किया इसी बात से  चौथ माता नाराज होकर मुझे यहाँ लाकर बैठा दिया। यह सब बात जानने के बाद उस लड़की माँ    साहूकारनी के पास गई और उसे सारी  बात बताई और यह सब जानकर साहूकारनी को अपनी गलती का अहसास हुआ और चौथ माता से अपनी गलती की माफ़ी मांगी और कहाँ  की  हे चौथ माता  अगर मेरा बेटा शादी करके मेरे घर वापस आ जायेगा तो मै आपका ढाई मन का तिलकुटा करुँगी। उसके बाद चौथ माता और गणेश जी ने उसे फिर एक मौका दिया लड़का घर आ गया और उसका विवाह निर्विघ्न सम्पन  हुआ उसके बाद साहूकारनी बहुत धूमधाम से ढाई मन का तिलकुट किया। और सारी नगरी में हेलो फिरवा दिया। की सभी माताये अपने बच्चो  के लिए सकट चौथ माता करे।

हे चौथ माता जैसे आपने साहूकारनी  की मनोकामना पूरी की वैसे ही आपका व्रत करने वाली सभी माताये और बहनो की मन्नत पूरी करना।

Sakat Chauth 2022 सकट चौथ पर करें। ये उपाय करने से घर में सुख-समृद्धि और धन की होगी बरसात

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